अफगानिस्तान में आज सुबह आए भूकंप से जान माल का भारी नुकसान हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 6.1 की तीव्रता वाले इस भूकंप से कम से कम 280 लोगों की जान गई है, जबकि 500 से ज्यादा लोग घायल हो गए।
अफगानिस्तान में आज सुबह आए भूकंप से जान माल का भारी नुकसान हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 6.1 की तीव्रता वाले इस भूकंप से कम से कम 280 लोगों की जान गई है, जबकि 500 से ज्यादा लोग घायल हो गए।
और दो स्वामी विश्व की बड़ी खबर आ रही है। देखिए आप अफगानिस्तान में भूकंप आया और उसमें 280 लोगों की मौत हो गई। दुनिया में ये भयंकर तबाही वाली घटनाओं में से एक बन गई है। रिएक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 6.1 मापी गई। 500 से ज्यादा लोग अभी भी घायल। और इतना ही नहीं इस भूकंप के झटके पाकिस्तान से लेकर भारत में भी देखे गए। खोस्त शहर से 40 किलोमीटर दूर ये भूकंप का केन्द्र था और पाकिस्तान सहित भारत में भी इस भूकंप के झटके देखे गए।
आज सुबह सुबह भूकंप आया और इसमें जान माल का भारी नुकसान हुआ। मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो तो 6.1 की तीव्रता वाले इस भूकंप से कम से कम 280 लोगों की जान जाने की खबर है। अभी और भी मलबे में दबे हुए लोगों को निकाला जा रहा है और इसीलिए आकड़ा मरने वालों का अभी और भी ज्यादा बढ़ सकता है। यूएस जियोलॉजिकल सर्वे के मुताबिक भूकंप का केंद्र अफगानिस्तान के खोस्त शहर से 40 किलोमीटर दूर था और तकरीबन 500 किलोमीटर तक के दायरे में इस भूकंप के झटकों को महसूस किया गया और इसी वजह से अफगानिस्तान के साथ साथ पाकिस्तान और भारत में भी भूकंप के झटके महसूस हुए। भूकंप वाले इलाकों में सेना की टीम ने पहुंचकर रेस्क्यू ऑपरेशन भी शुरु कर दिया। इमरजेंसी एजेंसियों से मदद की अपील भी की जा रही है। सरकार के प्रवक्ता बिलाल करीमी ने ट्वीट किया कि दुर्भाग्य से कल रात पक्तिका प्रांत के चार जिलों में भीषण भूकंप आया, जिससे हमारे सैकड़ो देशवासी मारे गए और घायल भी हो गए। दर्जनों घर तबाह हो गए। कई सारी बड़ी बड़ी बिल्डिंगे टूट कर गिर गई।
सड़कें डैडी लोगों को मलबे से निकालने का काम अभी भी जारी है। हालांकि रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए हेलिकॉप्टर इलाके में पहुंच गए। ये एक झाड़ मैं आपको बताता दोस्तों क्या करूं कितना भूकंप आता तो कितना नुकसान होने की संभावना रहती है। जीरो से वन नाइन तीव्रता तक का अगर भूकंप आता तो इसे सिर्फ सिस्मोग्राफ से ही पता चल तैयार में फेल भी नहीं होता। दो से ज्यादा पर काली तीव्रता का भूकंप आता दो से टू लाइन तक का उसमें हल्का कंपन महसूस होता है। थ्री से थ्री नाइन तक की रिएक्टर स्केल वाली तीव्रता के भूकंप में अगर कोई ट्रक आपके नजदीक से गुजर जाए, ऐसा आपको लाता है वाय फोर से फोर नाइन तक के भूकंप तीव्रता में घरों की खिड़कियां टूट सकती हैं। दीवारों पर टंगी फ्रेम गिर सकती है।
5 से 5 पाँच नौ तक की तीव्रता वाले भूकंप में फर्नीचर जैसा भारी सामान तक भी हिल सकता है। जैसे 659 तक की तीव्रता में इमारतों की नींव दरक सकती है। ऊपरी मंजिलों को नुकसान हो सकता है और साथ से अगर ज्यादा भूकंप आ जाए तो ये तो तबाही की ओर ले जाता है। 7 से 7 पन्नों तक की तीव्रता के भूकंप में इमारतें गिर जाती हैं। जमीन के अंदर पाइप फट जाते हैं। सड़कें गड्ढे में बदल जाती है। 8 से 8.9 वाली तीव्रता में इमारतों सहित बड़े बड़े पुल भी गिर जाते हैं। नौ या इससे ज्यादा अगर भूकंप आता है तो पूरी तबाही मच जाती है। मानो धरती पहले हो रही हो। कोई मैदान में खड़ा हो तो उसे धरती लहराते हुए दिखेगी।
समंदर नजदीक हो तो सुनामी का खतरा भी रहता है। भूकंप ने रिएक्टर पैमाने का हर स्केल पिछले स्केल के मुकाबले 10 गुना ज्यादा ताकतवर होता जाता है। यानी कि ये जो हार एक प्वाइंट आगे बढ़ रहा है न इसमें टेनर्स, भूकंप का नुकसान और भूकंप की तीव्रता बढ़ती जाती है। ये तो मैंने आपको भूकंप के बारे में जनरल नॉलेज की बातें बता दिए जो आपको ध्यान में रखनी चाहिए। कुछ और आकड़े आपको बताना चाहूंगा। पटरी के अंदर भूकंप आता है की मानें तो पृथ्वी के अंदर जो टेक्टोनिक प्लेट होती है वो पिघले हुए लावे पर तैरती रहती है और इनकी एक दूसरे के टक्कर से ही भूकंप आता है। ज्वालामुखी परमाणु बम या खदानों में होने वाले धमाके से भी भूकंप आ सकते हैं। पृथ्वी पर हर साल लगभग 5 लाख भूकंप आते हैं।
करीब 1 लाख भूकंप ही महसूस हो पाते हैं। इनमें से भी करीब 100 भूकंप एक बड़ा नुकसान पहुंचाते हैं। दुनिया में अब तक का सबसे बड़ा रिकॉर्ड है जो सबसे ज्यादा विनाशकारी भूकंप रात साल तीन सिक्सटी में आया चिली में आया था। इसकी तीव्रता तीन साल थी और इसमें करीब 6000 लोगों की मौत हुई थी। भारत देश के आकड़ों की बात करें तो भारत में सबसे ज्यादा विनाशकारी भूकंप 15 जनवरी 2 हज़ार को बिहार में आया था और इसकी तब तीव्रता पाँच वन थी। इसमें करीब 30,000 लोग मारे गए थे। 1811 में उत्तरी अमेरिका में भी इतना ही जोरदार भूकंप आया कि मिसीसिपी नदी उल्टी दिशा में बहने लगी। भूकंप के सबसे खतरनाक हिमस्खलन की बात करें तो हाईजीन सेक्शन में पेरू में हुआ था। इसकी रफ्तार 400 किलोमीटर प्रति घंटा थी। करीब 18 जालौन केस में मौत हुई तो ये दुनिया की कुछ बड़ी घटनाएं रही है।
भूकंप से जुड़ी और आज अफगानिस्तान में भूकंप आया तो इसके कुछ झटके जो पाकिस्तान और भारत में भी देखे गए, लेकिन गनीमत रही और राहत की बात है की पाकिस्तान और भारत में तो जान माल का कोई भी नुकसान नहीं हुआ।
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